मुरादाबाद। समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व सांसद एचटी हसन आज़म ख़ान की रिहाई पर जश्न के माहौल में भी अपने पुराने जख्म नहीं भूल पा रहे हैं। जहाँ एक ओर कई शहरों में समर्थक आज़म की रिहाई का स्वागत कर रहे हैं, वहीं मुरादाबाद से उठ रही आवाज़ पार्टी के भीतर की दरारों की याद दिला रही है।
टिकट कटवाने का दर्द
डॉ. एचटी हसन ने बताया कि 2024 लोकसभा चुनाव में पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव से उनका टिकट आज़म ख़ान ने कटवाया और अपनी करीबी रूचि वीरा को टिकट दिलवा दिया। नतीजा यह हुआ कि रूचि वीरा चुनाव जीतकर संसद पहुँचीं और उन्हें राजनीति छोड़कर अपनी पुरानी राह, मेडिकल प्रैक्टिस, दोबारा अपनानी पड़ी।
"आज़म की रिहाई पर जश्न है, मगर मेरे ज़ख्म ताज़ा हैं"
हसन का कहना है कि पार्टी में उनकी अनदेखी और आज़म द्वारा किए गए फैसले ने उन्हें गहरा चोट पहुँचाया। उन्होंने कहा:
"आज़म की रिहाई पर जश्न मनाया जा रहा है, लेकिन मेरे लिए यह दिन उन घावों को कुरेद देता है, जो उन्होंने ही दिए थे।"
सपा के भीतर का अंतर्द्वंद्व
यह बयान समाजवादी पार्टी के भीतर चल रहे अंतर्द्वंद्व को उजागर करता है। एक ओर आज़म की रिहाई पर कार्यकर्ताओं में खुशी की लहर है, वहीं दूसरी ओर पुराने नेता अपने राजनीतिक अपमान को याद कर रहे हैं।✍️ खास रिपोर्ट
पत्रकार: ज़मीर आलम
संपूर्ण राजनैतिक समाचार पत्रिका — विधायक दर्पण
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